जिम कॉर्बेट आला दर्जे के शिकारी रहे, यह तो दुनिया जानती है. कम लोग जानते हैं कि दो दशक से ज़्यादा वक़्त तक रेलवे की नौकरी करते हुए वह पहले गोरखपुर और फिर मोकामाघाट में रहे. रेलवई की नौकरी के दिनों के उनके क़िस्से शिकार की कहानियों की तरह ख़ूब दिलचस्प हैं. [….]
किताब
अपना मुल्क